इमेज स्रोत, Congress Party
ब्राज़ील की हेयरड्रेसर लारिसा नेरी इस हफ़्ते भारत में सुर्ख़ियों में हैं. उनकी एक तस्वीर कथित चुनावी धोखाधड़ी के आरोपों के साथ समाचारों में छपी थी. उन्होंने बीबीसी को बताया कि शुरुआत में उन्हें लगा था कि यह सब एक ग़लती या फिर कोई मज़ाक था.
लेकिन फिर उनके सोशल मीडिया पेज पर एक बाढ़ सी आ गई. कई लोगों ने उन्हें इंस्टाग्राम पर टैग करना शुरू कर दिया.
लारिसा नेरी ने बीबीसी को बताया, “शुरू में तो कुछ बेतरतीब मैसेज आए. मुझे लगा कि वे मुझे कोई और समझ रहे हैं, फिर उन्होंने मुझे एक वीडियो भेजा जिसमें मेरा चेहरा एक बड़ी स्क्रीन पर दिखाई दे रहा था.”
“मुझे लगा कि यह एआई या कोई मज़ाक है. लेकिन फिर बहुत से लोगों ने एक साथ मैसेज करना शुरू कर दिया और मुझे एहसास हुआ कि यह सच था.”
बीबीसी हिंदी के व्हॉट्सऐप चैनल से जुड़ने के लिए यहाँ क्लिक करें
नेरी दक्षिण-पूर्वी ब्राज़ील के मिनास गेरैस प्रांत की राजधानी बेलो होरिज़ोंटे में रहती हैं और कभी भारत नहीं आई हैं.
नेरी ने सारी बात समझने के लिए गूगल का सहारा लिया.
आख़िर क्या है मामला?
इमेज स्रोत, ANI
दरअसल बुधवार को कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने एक प्रेस कॉन्फ्रेंस कर बीजेपी और चुनाव आयोग पर पिछले साल हरियाणा विधानसभा चुनाव में ‘वोट चोरी’ का आरोप लगाया था. बीजेपी ने इन आरोपों ख़ारिज कर दिया था.
प्रेस कॉन्फ्रेंस के कुछ घंटे बाद, एक्स पर एक पोस्ट में हरियाणा के मुख्य चुनाव अधिकारी ने एक पत्र साझा किया, जिसमें उन्होंने बताया कि अगस्त में राहुल गांधी को एक पत्र भेजा गया था.
इस पत्र में उनसे अयोग्य मतदाताओं के नामों के साथ एक शपथ पत्र पर हस्ताक्षर करने का अनुरोध किया गया था ‘ताकि आवश्यक कार्यवाही शुरू की जा सके”.
चुनाव आयोग ने बुधवार को लगाए गए आरोपों का जवाब नहीं दिया और नेरी के मामले पर कोई टिप्पणी नहीं की. बीबीसी ने प्रतिक्रिया के लिए चुनाव आयोग से संपर्क किया है.
राहुल गांधी ने अगस्त के शुरू से ही चुनाव आयोग पर ‘वोट चोरी’ के कई आरोप लगाए हैं.
अपने ताज़ा दावों में, उन्होंने कहा कि उनकी टीम ने चुनाव आयोग की मतदाता सूची के आंकड़ों की जाँच की और पाया कि लगभग दो करोड़ मतदाताओं में से 25 लाख की प्रविष्टियाँ अनियमित थीं, इनमें डुप्लीकेट, एक साथ कई मतदाता और अमान्य पते शामिल थे.
उन्होंने हरियाणा चुनाव में अपनी पार्टी की हार के लिए मतदाता सूची में इसी कथित हेराफेरी को ज़िम्मेदार ठहराया.
अपने दावों को साबित करने के लिए, उन्होंने एक बड़ी स्क्रीन पर कई स्लाइड दिखाए एक स्लाइड में राहुल गांधी नेरी की एक बड़ी तस्वीर के सामने खड़े थे, जबकि दूसरी स्लाइड में 22 मतदाताओं का एक कोलाज दिखाया गया था, जिनके नाम और पते अलग-अलग थे, लेकिन सभी पर नेरी की तस्वीरें थीं.
राहुल गांधी ने कहा, “यह महिला कौन है? उसकी उम्र क्या है? इसने हरियाणा में 22 बार मतदान किया.”
ब्राज़ीलियाई फ़ोटोग्राफ़र मैथियस फ़ेरेरो की खींची गई महिला की तस्वीर पर राहुल गांधी ने कहा कि एक ही फ़ोटो को कई मतदाता प्रविष्टियों में अलग-अलग नामों से बार-बार इस्तेमाल किया गया.
राहुल गांधी ने नेरी को एक मॉडल बताया जो मतदाता सूची में सीमा, स्वीटी और सरस्वती जैसे कई नामों से दिखाई दी थीं.
इमेज स्रोत, Congress Party
ब्राज़ील की महिला ने क्या बताया?
29 वर्षीया नेरी ने बीबीसी से पुष्टि की है कि तस्वीर में वही हैं.
उन्होंने कहा, “हाँ, मैं ही हूँ. उम्र में काफ़ी छोटी, लेकिन तस्वीरों में दिख रही शख़्सियत मैं ही हूँ.”
उन्होंने स्पष्ट किया कि वह एक हेयरड्रेसर हैं, मॉडल नहीं और यह तस्वीर मार्च 2017 में उनके घर के बाहर ली गई थी, जब वह 21 साल की थीं. उन्होंने बताया कि फ़ोटोग्राफ़र को “मैं सुंदर लग रही थी और उसने मेरी तस्वीरें लेने के लिए कहा.”
अब सालों बाद सिर्फ़ दो दिनों में ‘भारत के लोगों और कई पत्रकारों’ की ओर से आई प्रतिक्रियाओं ने उन्हें डरा दिया है.
नेरी ने बीबीसी को बताया, “मैं डर गई. मैं यह नहीं बता सकती कि यह मेरे लिए ख़तरनाक है या इसके बारे में बात करने से वहाँ किसी को नुक़सान पहुँच सकता है. मुझे नहीं पता कि कौन सही है और कौन ग़लत, क्योंकि मैं इसमें शामिल पक्षों को नहीं जानती.”
“मैं सुबह काम पर नहीं गई क्योंकि मैं अपने क्लाइंट्स के संदेश भी नहीं देख पा रही थी. कई पत्रकार मुझे फ़ोन कर रहे थे. उन्होंने उस जगह का नंबर भी ढूंढ़ लिया जहाँ मैं काम करती हूँ.”
उन्होंने बताया, “मुझे अपनी प्रोफ़ाइल से सैलून का नाम हटाना पड़ा क्योंकि वह मेरे काम करने की जगह में बाधाएं डाल रहे थे. मेरे बॉस ने मुझसे बात भी की. कुछ लोग इसे एक मीम की तरह देखते हैं, लेकिन यह मुझे पेशेवर रूप से प्रभावित कर रहा है.”
नेरी की तस्वीर लेने वाले मैथ्यूस फ़ेरेरो भी अचानक मिली इस प्रतिक्रिया से ख़ुश हैं. उनका कहना है कि हाल ही तक, भारत का मतलब उनके लिए सिर्फ़ ‘कैमिन्हो दास इंडियास – 2009’ नाम का ब्राज़ीलियाई प्राइमटाइम शो ही था.
वह अभी भी हज़ारों मील दूर भारत में पिछले कुछ दिनों की घटनाओं को समझने की कोशिश कर रहे हैं.
उन्होंने बीबीसी को बताया कि एक हफ़्ता पहले भारत से कुछ लोगों ने उनसे संपर्क किया था और पूछा था कि फ़ोटो में दिख रही महिला कौन है.
“मैंने कोई जवाब नहीं दिया. मैं किसी का नाम ऐसे नहीं बताऊँगा. और मैंने इस दोस्त को सालों से नहीं देखा था, मुझे लगा कि यह कोई घोटाला है. मैंने उसे ब्लॉक कर दिया.”

कैसे ली गई थी यह फ़ोटो?
लेकिन राहुल गांधी की प्रेस कॉन्फ्रेंस के बाद से “चीजें विस्फोटक हो गई हैं”.
फ़ेरेरो ने बताया, “लोग मुझे इंस्टाग्राम और फ़ेसबुक पर फ़ोन कर रहे थे. मैंने अपना इंस्टाग्राम बंद कर दिया ताकि समझ सकूँ कि क्या हो रहा है. बाद में मैंने गूगल किया और समझ गया कि क्या हो रहा है, लेकिन पहले तो मुझे कुछ समझ नहीं आया.”
फ़ेरेरो का कहना है कि कुछ वेबसाइटों ने बिना अनुमति के उनकी तस्वीरें नेरी की तस्वीर के बगल में लगा दीं. “लोग मीम्स बना रहे थे, मानो इसे एक गेम शो का मज़ाक बना रहे हों. यह बेतुका है.”
2017 में, जब फ़ेरेरो फ़ोटोग्राफ़ी में अपना करियर शुरू ही कर रहे थे, तब उन्होंने नेरी को फ़ोटोशूट के लिए बुलाया था. फ़ेरेरो पहले से ही नेरी को जानते थे.
फ़ेरेरो ने बताया कि उन्होंने नेरी की सहमति से तस्वीरें अपने फ़ेसबुक पर शेयर कीं और उन्हें एक फ़ोटो वेबसाइट, अनस्प्लैश पर भी पोस्ट किया.
उन्होंने कहा, “फ़ोटो बहुत लोकप्रिय हो गई…इसे लगभग 5.7 करोड़ बार देखा गया.”
उन्होंने अब अपने अनस्प्लैश अकाउंट से इस लिंक को हटा दिया है, लेकिन उन्होंने हमें पहले लिए गए स्क्रीनशॉट भेजे हैं, जिनमें उसी शूट से नेरी की अन्य तस्वीरें दिखाई गई हैं.
फ़ेरेरो ने बताया, “मैंने डर के मारे उन्हें डिलीट कर दिया, क्योंकि तस्वीरों का ग़लत इस्तेमाल हो रहा था. मैं यह सोचकर डर गया कि जिन लोगों की मैंने तस्वीरें खींची थीं, उनके साथ भी ऐसा हो रहा होगा.”
इमेज स्रोत, ANI
‘ब्राज़ील के चुनावों पर कभी नज़र नहीं रखी’
“मुझे ऐसा लगा जैसे मुझ पर हमला हो रहा है. बहुत सारे अनजान लोग मुझ पर हमला कर रहे हैं. आप सोच रहे होंगे, ‘क्या मैंने कुछ गलत किया है?’ लेकिन मैंने ऐसा नहीं किया. प्लेटफ़ॉर्म खुला था और मैंने लाखों लोगों की तरह फ़ोटो को अपलोड कर दिया.”
उन्होंने अब नेरी की तस्वीरों वाली मूल फ़ेसबुक पोस्ट को भी निजी बना दिया है.
वो कहते हैं, “जब आप देखते हैं कि लोग आपके ट्विटर, फ़ेसबुक, पर्सनल इंस्टाग्राम पर आते हैं, तो आप घबरा जाते हैं. पहली प्रतिक्रिया यही होती है कि सब कुछ बंद कर दें. कुछ लोगों को यह मज़ाकिया लगा, किसी सीरियल जैसा, लेकिन मुझे लगा जैसे मुझ पर हमला हुआ हो.”
न तो फ़ेरेरो और न ही नेरी कभी भारत आए हैं और वे अभी भी यह समझने की कोशिश कर रहे हैं कि दुनिया के दूसरे छोर पर घटी कोई घटना उनके जीवन को कैसे उलट-पुलट कर सकती है.
हमने फ़ेरेरो से पूछा कि क्या इससे कथित चुनावी धोखाधड़ी को उजागर करने में मदद मिलेगी, क्या यह सकारात्मक होगा?
उन्होंने कहा, “हां, मुझे लगता है कि यह सकारात्मक होगा. लेकिन मुझे वास्तव में विस्तृत जानकारी नहीं है.”
नेरी कभी ब्राज़ील के बाहर नहीं गई हैं. वह कहती हैं, “मैं तो ब्राजील में भी चुनावों पर नज़र नहीं रखती, किसी दूसरे देश की तो बात ही छोड़ दीजिए.”
बीबीसी के लिए कलेक्टिव न्यूज़रूम की ओर से प्रकाशित.