डिजिटल डेस्क, नई दिल्ली। चुनाव आयोग ने सोमवार को कहा कि बिहार की ड्राफ्ट मतदाता सूची से बाहर रह गए लोग अपने नाम मतदाता सूची में शामिल करने के लिए अपने आधार कार्ड की प्रति जमा कर सकते हैं।
गौरतलब है कि सुप्रीम कोर्ट ने चुनाव आयोग को पहचान के प्रमाण के रूप में आधार कार्ड स्वीकार करने के लिए निर्देश दिए थे। चुनाव आयोग ने बयान में कहा कि नियमों के अनुसार पात्रता दस्तावेज की जांच के बाद दावे और आपत्तियों का निपटारा संबंधित निर्वाचन पंजीकरण अधिकारी द्वारा तब तक नहीं किया जाएगा जब तक कि पात्रता दस्तावेज की जांच के बाद सात दिन की अवधि समाप्त न हो जाए।
आयोग ने यह भी स्पष्ट किया कि विशेष गहन पुनरीक्षण (एसआइआर) आदेशों के अनुसार, एक अगस्त को प्रकाशित ड्राफ्ट सूची से किसी का भी नाम निर्वाचन रजिस्ट्रेशन अधिकारी (ईआरओ) द्वारा जांच करने और उचित और न्यायसंगत अवसर देने के बिना हटाया नहीं जा सकता।