कतर में हमास नेतृत्व पर हुए हवाई हमलों के बाद अपहृत लोगों के परिजनों ने गंभीर चिंता जताई है। उन्होंने चेतावनी दी है कि हमास पर हुए हमलों का असर बंधकों पर ‘असहनीय कीमत’ के रूप में पड़ सकता है।
अपहृत लोगों के परिवारों ने कहा, ‘जो लोग कैद से वापस लौटे हैं, उन्होंने हमें बताया है कि बंधकों पर लिया जाने वाला बदला बहुत क्रूर होता है। अब उनकी सुरक्षित वापसी की संभावना पहले से कहीं ज़्यादा अनिश्चित हो गई है।’
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खतरे में पड़ सकती है 48 बंधकों की जान
परिजनों की ओर से जारी बयान में कहा गया, ’48 बंधकों की जान किसी भी पल खतरे में पड़ सकती है। कुछ की हत्या हो सकती है और कुछ हमेशा के लिए गायब हो सकते हैं। अब समय आ गया है कि युद्ध को खत्म किया जाए।’
बंधकों की वापसी के लिए समझौते की स्पष्ट योजना पेश करे इस्राइली सरकार
परिजनों ने इस्राइली सरकार से मांग की है कि वह 48 बंधकों की वापसी के लिए एक ठोस और व्यापक समझौते की स्पष्ट योजना पेश करे।
इस्राइली वायुसेना ने दोहा में किया बड़ा हमला
दरअसल, इस्राइली वायुसेना ने मंगलवार को हमास के नेताओं को निशाना बनाने के लिए कतर की राजधानी दोहा में बड़ा हमला किया। इस्राइल के प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतन्याहू के कार्यालय ने इस हमले की जिम्मेदारी ली है। नेतन्याहू के कार्यालय (पीएमओ) ने कहा, हमास के शीर्ष आंतकवादी सरगनाओं के खिलाफ आज की कार्रवाई पूरी तरह एक स्वतंत्र अभियान था। इस्राइल ने इस अभियान की शुरुआत की, इसका संचालन किया और इस्राइल इसकी पूरी जिम्मेदारी लेता है।
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कतर ने की हमले की निंदा
एक इस्राइली अधिकारी ने पुष्टि की है कि इस्राइली सेना ने कतर की राजधानी दोहा में हमास के नेतृत्व को निशाना बनाया है। वहीं, कतर ने इस हमले की कड़ी निंदा की है। उसने कहा है कि यह हमला कायरतापूर्ण है और दोहा में हमास के मुख्यालय पर किया गया यह इस्राइली हमला अंतरराष्ट्रीय कानून का उल्लंघन है।
हमला क्षेत्र की स्थिरता के लिए खतरा: पीएलओ
फलस्तीन मुक्ति संगठन (पीएलओ) ने दोहा पर हुए इस्राइली हमले की निंदा की है। संगठन ने इस हमले को ‘घिनौना’ करार देते हुए कहा कि यह अंतरराष्ट्रीय कानून और कतर की संप्रभुता का गंभीर उल्लंघन है। पीएलओ के महासचिव हुसैन अल-शेख ने एक बयान में कहा, यह हमला क्षेत्र में सुरक्षा और स्थिरता के लिए एक खतरा है।