DRDO Jaisalmer जैसलमेर में DRDO गेस्ट हाउस के मैनेजर महेंद्र सिंह को ISI के लिए जासूसी करने के आरोप में हिरासत में लिया गया है। सूत्रों के अनुसार वह भारत की सैन्य गतिविधियों की गोपनीय जानकारी पाकिस्तान को भेज रहा था। वह पिछले चार-पांच साल से गेस्ट हाउस में तैनात था और उसने कई गुप्त जानकारियां लीक कीं।
एएनआई, जैसलमेर। जैसलमेर के चांदन फील्ड फायरिंग रेंज के पास स्थित रक्षा अनुसंधान एवं विकास संगठन (DRDO) के गेस्ट हाउस के मैनेजर को सुरक्षा एजेंसियों ने पाकिस्तान की खुफिया एजेंसी ISI के लिए जासूसी करने के आरोप में हिरासत में लिया है।
सूत्रों के मुताबिक, महेंद्र सिंह नाम का यह शख्स वर्षों से भारत की सैन्य गतिविधियों की गोपनीय जानकारी पाकिस्तान को पहुंचा रहा था।
महेंद्र सिंह उत्तराखंड के अल्मोड़ा का रहने वाला है। उसपर आरोप है कि उसने भारत की रक्षा गतिविधियों से जुड़ी संवेदनशील जानकारी पाकिस्तानी एजेंटों को दी। सूत्रों का कहना है कि वह पिछले चार-पांच साल से इस गेस्ट हाउस में तैनात था और इस दौरान उसने कई गुप्त जानकारियां लीक कीं।
सैन्य क्षेत्र में संदिग्ध गतिविधियां कर रहा था महेंद्र
DRDO का यह गेस्ट हाउस रक्षा वैज्ञानिकों और विशेषज्ञों का ठिकाना है, जो पोखरण फील्ड फायरिंग रेंज में हथियारों और मिसाइलों के परीक्षण के लिए आते हैं। यहां ही महेंद्र काम करता था। यह इलाका सेना और वायुसेना के सक्रिय सैन्य क्षेत्रों से घिरा हुआ है, जहां साल भर रक्षा से जुड़ी गतिविधियां होती रहती हैं।
खुफिया अधिकारियों का मानना है कि महेंद्र सिंह ने इन गतिविधियों की जानकारी तक पहुंच बनाई और उसे ISI के एजेंटों तक पहुंचाया। सूत्रों के अनुसार, महेंद्र सिंह जिस मोबाइल नंबर से जानकारी भेजता था, वह संभवतः भारत में सक्रिय ISI एजेंटों की ओर से मुहैया कराया गया था। इस मामले ने सुरक्षा एजेंसियों को चौकन्ना कर दिया है, क्योंकि यह राष्ट्रीय सुरक्षा से जुड़ा गंभीर मसला है।
हिरासत में पूछताछ शुरू
जैसलमेर के पुलिस अधीक्षक (SP) अभिषेक शिवहरे ने इस घटना की पुष्टि करते हुए बताया कि महेंद्र सिंह को पाकिस्तानी खुफिया एजेंसी के लिए जासूसी के शक में हिरासत में लिया गया है। उन्होंने कहा, “मंगलवार को उसे सभी सुरक्षा और खुफिया एजेंसियों की ओर से विस्तृत पूछताछ के लिए लाया जाएगा।”
SP शिवहरे ने आगे कहा कि पूछताछ से यह पता लगाया जाएगा कि उसने कितनी और कैसी जानकारी लीक की। इस मामले की गहराई तक जाने के लिए जांच तेज कर दी गई है, ताकि राष्ट्रीय सुरक्षा को हुए नुकसान का आकलन किया जा सके।