राज्य ब्यूरो, भोपाल। प्रदेश में 28 अक्टूबर से मतदाता सूची के विशेष गहन पुनरीक्षण (एसआइआर) की प्रक्रिया शुरू हो गई और यह सात फरवरी 2026 तक चलेगी। इस दौरान एसआइआर कार्य से जुड़े किसी भी अधिकारी का तबादला नहीं किया जा सकेगा। चुनाव आयोग ने मुख्य सचिव को निर्देश जारी कर कहा है कि इन अधिकारियों के तबादले एसआइआर की प्रक्रिया पूरी होने तक न किए जाएं।
इसके तहत अब सात फरवरी तक कलेक्टर, संयुक्त कलेक्टर, डिप्टी कलेक्टर और तहसीलदार के तबादले नहीं किए जा सकेंगे। अत्यधिक जरूरी होने पर चुनाव आयोग की अनुमति लेकर तबादले किए जा सकेंगे। हालांकि इस अवधि में वरिष्ठ आइएएस अधिकारियों के तबादलों पर कोई रोक नहीं है। मुख्य सचिव यह सुनिश्चित करेंगे कि निर्वाचक नामावली तैयार करने में शामिल सीईओ, डीईओ, ईआरओ, एईआरओ, बीएलओ पर्यवेक्षक, बीएलओ और अन्य सभी अधिकारियों को पर्याप्त जनशक्ति और संसाधन उपलब्ध कराए जाएं।
कमिश्नर और कलेक्टर के साथ की वर्चुअली बैठक
मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी संजीव कुमार झा ने बुधवार को वीडियो कांफ्रेसिंग से सभी संभागों के कमिश्नर एवं कलेक्टर तथा जिला निर्वाचन अधिकारियों के साथ बैठक की। झा ने कहा कि भारत निर्वाचन आयोग द्वारा मतदाता सूची के विशेष गहन पुनरीक्षण (एसआइआर) के संबंध में दिए गए निर्देशों का अनिवार्य रूप से पालन करें। विशेष गहन पुनरीक्षण के दौरान बीएलओ तीन बार मतदाताओं के घर घर जाएंगे, यह सुनिश्चित करें।
इसके साथ ही जो व्यक्ति एक जनवरी 2026 को 18 वर्ष की आयु पूरी कर रहा है, वह भी मतदाता सूची में अपना नाम जुड़वाने के लिए आवेदन कर सकता है। एन्यूमरेशन फार्म भरने में यदि कोई व्यक्ति मिथ्या घोषणा करता है तो जुर्माने या कारावास के लिए दंडनीय होगा। बैठक के दौरान संयुक्त मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी राम प्रताप सिंह जादौन, उप मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी संजय श्रीवास्तव, सुरभि तिवारी और राजेश यादव उपस्थित रहे।