रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने सोमवार को कहा कि भारत के ‘ऑपरेशन सिंदूर” ने अपने सभी लक्ष्य सफलतापूर्वक पूरे किए हैं और यह मिशन आतंकवादियों के मन में डर पैदा करने में पूरी तरह सफल रहा है। राजनाथ सिंह राष्ट्रपति भवन परिसर में आयोजित एक कार्यक्रम में बोल रहे थे। इस मौके पर उन्होंने राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू के दूसरे कार्यकाल के दौरान दिए गए 51 प्रमुख भाषणों के संकलन ‘विंग्स टू आवर होप्स – वॉल्यूम 2’ का विमोचन किया।
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रक्षा मंत्री ने राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू की प्रशंसा की
अपने संबोधन में रक्षा मंत्री ने राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू की प्रशंसा करते हुए कहा कि यह पुस्तक न केवल भाषणों का संग्रह है, बल्कि यह भारत के भविष्य को दिशा देने वाला एक महत्वपूर्ण दस्तावेज भी है। उन्होंने कहा कि यह पुस्तक देश की शासन प्रणाली, समावेशिता और राष्ट्रीय आकांक्षाओं पर आधारित विमर्श को दर्शाती है।
भारत की निर्णायक और प्रभावशाली सैन्य नीति का उदाहरण
राजनाथ सिंह ने अपने भाषण में ‘ऑपरेशन सिंदूर’ का भी उल्लेख किया, जिसे भारत ने मई महीने में पहलगाम आतंकी हमले के जवाब में अंजाम दिया था। उन्होंने कहा, ‘ऑपरेशन सिंदूर ने न केवल अपने सारे सैन्य उद्देश्य हासिल किए, बल्कि आतंकवादियों के मन में डर भी भर दिया।’ उन्होंने इसे भारत की निर्णायक और प्रभावशाली सैन्य नीति का उदाहरण बताया। इस मौके पर कई वरिष्ठ अधिकारी और गणमान्य अतिथि मौजूद थे। रक्षा मंत्री ने यह भी कहा कि भारत अब आतंकवाद को बर्दाश्त नहीं करेगा और इस तरह की कार्रवाइयों के जरिए दुनिया को यह संदेश दे दिया गया है।
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पहलगाम आतंकी हमला, ऑपरेशन सिंदूर और सीजफायर
22 अप्रैल को जम्मू-कश्मीर के पहलगाम में हुए आतंकी हमले के 15 दिन बाद भारतीय सेना ने सात मई को ‘ऑपरेशन सिंदूर’ के तहत पाकिस्तान और पीओके में नौ आतंकी ठिकानों को तबाह किया था। जिसमें कई कुख्यात आतंकी भी मारे गए थे। इसके बाद दोनों देशों के बीच हालात बिगड़े और दो दशक बाद चरम पर पहुंच गए। वहीं पाकिस्तान की तरफ से भारत के शहरों को निशाना बनाए जाने के बाद, भारत की वायु रक्षा प्रणाली ने सभी को नाकाम करते हुए उसका माकूल जवाब दिया। भारत ने जवाबी कार्रवाई करते हुए पाकिस्तान के 14 सैन्य ठिकानों को ध्वस्त कर दिए। इससे घबराए पाकिस्तान ने भारत के सामने सीजफायर का प्रस्ताव रखा, जिसे दोनों देशों ने आपसी चर्चा के बाद लागू कर लिया।