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Raj Thackeray: राज ठाकरे के खिलाफ सुप्रीम कोर्ट में याचिका, MNS की मान्यता रद्द करने की मांग – petition file against mns chief raj thackeray in supreme court marathi language controversy

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Apr 7, 2025


मुंबई: महाराष्ट्र की राजनीति में एक बड़ी खबर सामने आ रही है। महाराष्ट्र नवनिर्माण सेना(मनसे) अध्यक्ष राज ठाकरे(Raj Thackeray) के खिलाफ सुप्रीम कोर्ट में याचिका दायर की गई है। राज ठाकरे ने गुड़ी पड़वा के मौके पर अपने कार्यकर्ताओं को कुछ आदेश दिए थे। राज ठाकरे ने अपने कार्यकर्ताओं को कहा था कि वे जांच करें कि बैंकों, दुकानों और अन्य प्रतिष्ठानों में मराठी भाषा का प्रयोग किया जा रहा है या नहीं। इसके बाद राज्य भर में मनसे कार्यकर्ताओं ने अलग-अलग बैंकों में जाकर मराठी भाषा के इस्तेमाल पर जोर दिया। इसके बाद उत्तर भारतीय विकास सेना के प्रमुख सुनील शुक्ला ने सुप्रीम कोर्ट में याचिका दायर की। उन्होंने आरोप लगाया कि MNS कार्यकर्ता हिंदी भाषियों पर हमला कर रहे हैं और राज ठाकरे के भड़काऊ भाषणों के कारण ऐसा हो रहा है। उन्होंने चुनाव आयोग से MNS की मान्यता रद्द करने की भी मांग की है।क्यों दायर हुई याचिका?
दरअसल राज ठाकरे के आदेश के बाद मनसे कार्यकर्ता जगह-जगह पहुंचे। कुछ स्थानों पर बैंक कर्मचारियों ने यह रुख अपनाया कि वे मराठी नहीं बोलेंगे। इससे गुस्साए मनसे सैनिकों ने ऐसे कर्मचारियों की पिटाई भी कर दी। इस घटना से बैंक के कर्मचारियों में भय व्याप्त हो गया है। दूसरी ओर मराठी भाषा मंत्री उदय सामंत के आग्रह के बाद राज ठाकरे ने अपने कार्यकर्ताओं से संबंधित आंदोलन वापस लेने की अपील की है। हालांकि एक उत्तर भारतीय संगठन के प्रमुख ने राज ठाकरे के खिलाफ सीधे सुप्रीम कोर्ट में याचिका दायर की है। ‘टीवी 9 मराठी’ ने इस पर रिपोर्ट दी है।

राज ठाकरे के खिलाफ याचिका किसने दायर की?
मनसे अध्यक्ष राज ठाकरे के खिलाफ सुप्रीम कोर्ट में याचिका दायर की गई है। यह याचिका उत्तर भारतीय विकास सेना के प्रमुख सुनील शुक्ला ने दायर की है। सुनील शुक्ला ने याचिका में आरोप लगाया है कि मनसे कार्यकर्ता हिंदी भाषियों पर हमले कर रहे हैं। याचिका में यह भी आरोप लगाया गया है कि राज ठाकरे के भड़काऊ भाषणों के कारण हिंदी भाषियों पर हमले हो रहे हैं। याचिकाकर्ता ने चुनाव आयोग से मनसे की मान्यता रद्द करने की भी मांग की है। इस याचिका के बाद अब मनसे की क्या प्रतिक्रिया है? यह देखना भी महत्वपूर्ण है।

गैर मराठी भाषियों पर हमलेइस बीच पिछले कुछ दिनों में महाराष्ट्र में गैर मराठी भाषियों पर हमले की घटनाएं भी हुई हैं। इसके अलावा जब एक ग्राहक टेलीफोन कंपनी की गैलरी में गया और वहां मौजूद महिला कर्मचारी से मराठी में बात करने के लिए कहा, तो उसने कहा कि वह मराठी नहीं जानती। ऐसी कई घटनाएं घटीं। इन घटनाओं को लेकर मनसे आक्रामक हो गई। मनसे ने हमेशा मराठी भाषा के लिए अलग-अलग आंदोलन चलाए हैं।

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